By using this site, you agree to the Privacy Policy and Terms of Use.
Accept
Himalaya Ki AwajHimalaya Ki Awaj
  • उत्तराखंड
  • करियर
  • राजनीती
  • पर्यटन
  • क्राइम
  • देश-विदेश
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्पोर्ट्स
  • स्वास्थ्य
  • वीडियो न्यूज़
Search
  • Advertise
© 2023 Himalaya Ki Awaj. All Rights Reserved. | Designed By: Tech Yard Labs
Reading: 90 प्रतिशत दुर्घटनाएं वाहन चालकों की लापरवाही के कारण : डाॅ. बीकेएस संजय
Share
Notification Show More
Latest News
टिहरी में चलते वाहन की छत पर चढ़कर बना रहे थे रील, पुलिस ने बना दी रेल
क्राइम
पता चलेगा आपदा में कितने कारगर रहे जीपीआर, थर्मल इमेजर व ड्रोन जैसे उपकरण
उत्तराखंड
गंगोत्री हाईवे के डूबे हुए भाग के लिए तैयार होगा वैकल्पिक मार्ग
उत्तराखंड
सीएम ने किया स्यानाचट्टी में यमुना पर बनी झील का निरीक्षण, गाद हटाने के निर्देश
उत्तराखंड
अस्‍सी मीटर गहरी खाई में गिरे महेंद्र के लिए देवदूत बनी एसडीआरएफ
क्राइम
Aa
Himalaya Ki AwajHimalaya Ki Awaj
Aa
  • पर्यटन
  • राजनीती
Search
  • उत्तराखंड
  • करियर
  • राजनीती
  • पर्यटन
Follow US
  • Advertise
© 2023 Himalaya Ki Awaj. All Rights Reserved. | Designed By: Tech Yard Labs
Himalaya Ki Awaj > Blog > उत्तराखंड > 90 प्रतिशत दुर्घटनाएं वाहन चालकों की लापरवाही के कारण : डाॅ. बीकेएस संजय
उत्तराखंड

90 प्रतिशत दुर्घटनाएं वाहन चालकों की लापरवाही के कारण : डाॅ. बीकेएस संजय

Web Editor
Last updated: 2024/05/14 at 9:27 AM
Web Editor
Share
5 Min Read
SHARE

देहरादून : संजय ऑर्थाेपीडिक, स्पाइन एवं मैटरनिटी सेंटर, जाखन देहरादून व सेवा सोसाइटी ने 8वें संयुक्त राष्ट्र वैश्विक सड़क सुरक्षा सप्ताह 10-14 मई 2024 के अवसर पर निःशुल्क जन जागरूकता व्याख्यानों का आयोजन किया। पद्म श्री से सम्मानित डॉ. बी. के. एस. संजय और इंडिया एवं इंटर नेशनल बुक ऑफ रिकार्ड्स होल्डर डॉ. गौरव संजय ने 14 मई 2024 को उत्तराखंड प्रेस क्लब, देहरादून में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की।

डॉ. बी. के. एस. संजय ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान बताया कि विश्व स्वास्थ्य संगठन की एक रिपोर्ट के अनुसार, हर साल भारत में लगभग 5 लाख दुर्घटनाएं हो रही हैं। इनमें से करीब डेढ़ लाख लोग मारे जा रहे हैं। जैसे-जैसे देश की आर्थिक स्थिति सुधर रही है, वैसे-वैसे जनता की भी। जिससे वाहनों की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। परिवहन विभाग के आंकड़ों के मुताबिक भारत में दुनिया के केवल 1 प्रतिशत वाहन हैं लेकिन दुर्घटनाओं की संख्या दुनिया की 11 प्रतिशत है। हमारे देश में सड़क दुर्घटनाएं ने एक महामारी का रूप ले लिया है।

गिनीज वल्र्ड रिकॉर्ड होल्डर ऑर्थाेपीडिक सर्जन डॉ. बी. के. एस. संजय ने प्रेस को सम्बोधित करते हुए बताया कि इन दुर्घटनाओं का समाज और राष्ट्र पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ रहा है। सड़क यातायात दुर्घटनाओं से प्रत्येक पीड़ित गरीब हो जाता है और गरीब और अधिक गरीब हो जाता है। यह दुर्घटनाएं देश के विकास में एक रोड़ें का काम कर रही हैं। इन सड़क दुर्घटनाओं से समग्र समाज को भारी कीमत चुकानी पड़ रही है। डॉ. संजय ने यह भी बताया कि उनके क्लीनिकल अध्ययन से पता चला है कि 90 प्रतिशत दुर्घटनाएं वाहन चालकों की लापरवाही के कारण होती हैं। इन दुर्घटनाओं को रोका जा सकता है और रोका जाना चाहिए। डॉ. संजय ने समाज से सड़क दुर्घटनाओं को रोकने और पीड़ितों और उनके दोस्तों और परिवारों की शारीरिक, सामाजिक, आर्थिक पीड़ा को कम करने के लिए हर संभव प्रयास करने की अपील की।

पद्म श्री से सम्मानित डॉ. बी.के.एस. संजय, उनके पुत्र डॉ. गौरव संजय और उनकी टीम सड़क दुर्घनाओं से पीड़ितों और उनके दोस्तों और परिवार के सदस्यों की पीड़ा और भावनाओं को साझा करके सड़क यातायात दुर्घटना के परिणाम के बारे में जनता में जागरूकता फैला रही है।
इंडिया एवं इन्टरनेशनल बुक ऑफ रिकॉर्ड्स होल्डर आर्थाेपीडिक सर्जन डॉ. गौरव संजय ने कहा कि हमारी संस्था 2001 से सड़क सुरक्षा अभियान चला रही है। हम ऑडियो-विजुअल व्याख्यानों के माध्यम से जागरूकता फैला रहे हैं। इसी कड़ी में गत वर्षो की ही भाँति इस वर्ष भी इनके सेंटर द्वारा जी.आर.डी. अकादमी, देहरादून, गुरूनानक काॅलेज, झाझरा, देहरादून, उत्तरांचल आयुर्वेदिक काॅलेज, राजपुर, देहरादून एवं वर्णी जैन इंटर काॅलेज, देहरादून आदि में सड़क सुरक्षा को लेकर जागरूक किया गया एवं सड़क यातायात के नियमों को पालन करने की शपथ दिलाई गई। जो कि इनके द्वारा समाज के लिए एक सराहनीय पहल है।

आज तक हमारे संस्थान ने देश एवं प्रदेश के सरकारी एवं गैर सरकारी विभिन्न स्कूलों, कॉलेजों, विश्वविद्यालयों, से लेकर एम्स और आई.आई.टी. जैसे राष्ट्रीय प्रतिष्ठित संस्थानों में भी 200 से अधिक मुफ्त जन जागरूकता व्याख्यान दिए हैं। इस उपलब्धि को इंडिया और इंटरनेशनल बुक ऑफ रिकॉड्र्स में सूचीबद्ध किया जा चुका है। इंडिया और इंटरनेशनल बुक रिकॉर्ड्स होल्डर डॉ. गौरव ने प्रेस कान्फ्रेंस के दौरान बताया कि सड़क दुर्घटनाओं का प्रमुख कारण वाहन चलाते समय तेज गति, शराब पीकर वाहन चलाना, चलते वाहन में मोबाइल फोन का इस्तेमाल, नींद की कमी और वाहन चालक की थकान है। मानव संसाधन पृथ्वी ग्रह पर सबसे बड़ा संसाधन है। उन्होंने सुझाव दिया कि अगर हम हमेशा हेलमेट और सीट बेल्ट पहनें तो दोपहिया वाहनों में 20 प्रतिशत और चौपहिया वाहनों में 20 प्रतिशत यानी कि 40 प्रतिशत मौतों को आसानी से रोका जा सकता है।

डॉ. गौरव संजय समय-समय पर जनता से यातायात नियमों को सीखने और उनका पालन और सरकार से भी यातायात नियमों को शिक्षित करने और लागू करने की अपील करते रहते हैं। उन्होंने कहा और उन्हें उम्मीद है कि अगर ऐसा किया गया तो दुर्घटनाओं की संख्या और उनके परिणामस्वरूप पीड़ितों और समाज को होने वाली पीड़ा कम से कम होगी।

You Might Also Like

पता चलेगा आपदा में कितने कारगर रहे जीपीआर, थर्मल इमेजर व ड्रोन जैसे उपकरण

गंगोत्री हाईवे के डूबे हुए भाग के लिए तैयार होगा वैकल्पिक मार्ग

सीएम ने किया स्यानाचट्टी में यमुना पर बनी झील का निरीक्षण, गाद हटाने के निर्देश

उत्तराखंड फोटो फेयर को लेकर उत्साह, देहरादून फोटोग्राफर्स वेल्फेयर सोसाइटी का समर्थन

‘स्वदेशी अपनाओ’ मुहिम के साथ पलटन बाजार पहुंचे सीएम,  दुकानों पर स्टीकर भी लगाए

TAGGED: 90 percent of accidents are due to negligence of drivers
Web Editor May 14, 2024
Share this Article
Facebook Twitter Copy Link Print
Share
Previous Article गंगोत्री और यमुनोत्री धाम में टूटे तीर्थ यात्रियों के रिकॉर्ड
Next Article चारधाम यात्रा पर आने वाले 50 वर्ष आयु से अधिक वालों की हेल्थ स्क्रीनिंग पर विशेष फोकस, यात्रा मार्ग पर पहली बार श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में प्रारंभ की गई कैथ लैब
Leave a comment Leave a comment

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Stay Connected

100 Followers Like
100 Followers Follow
100 Followers Follow
100 Subscribers Subscribe
4.4k Followers Follow
- Advertisement -
Ad imageAd image

Latest News

टिहरी में चलते वाहन की छत पर चढ़कर बना रहे थे रील, पुलिस ने बना दी रेल
क्राइम August 27, 2025
पता चलेगा आपदा में कितने कारगर रहे जीपीआर, थर्मल इमेजर व ड्रोन जैसे उपकरण
उत्तराखंड August 27, 2025
गंगोत्री हाईवे के डूबे हुए भाग के लिए तैयार होगा वैकल्पिक मार्ग
उत्तराखंड August 27, 2025
सीएम ने किया स्यानाचट्टी में यमुना पर बनी झील का निरीक्षण, गाद हटाने के निर्देश
उत्तराखंड August 27, 2025

Recent Posts

  • टिहरी में चलते वाहन की छत पर चढ़कर बना रहे थे रील, पुलिस ने बना दी रेल
  • पता चलेगा आपदा में कितने कारगर रहे जीपीआर, थर्मल इमेजर व ड्रोन जैसे उपकरण
  • गंगोत्री हाईवे के डूबे हुए भाग के लिए तैयार होगा वैकल्पिक मार्ग
  • सीएम ने किया स्यानाचट्टी में यमुना पर बनी झील का निरीक्षण, गाद हटाने के निर्देश
  • अस्‍सी मीटर गहरी खाई में गिरे महेंद्र के लिए देवदूत बनी एसडीआरएफ

साथियों, ये है हिमालय की आवाज. आप सोच रहे होंगे कि इतने पोर्टल के बीच एक और पोर्टल. इसमें क्या अलग है. यूं तो इसमें भी खबर ही होंगी, लेकिन साथ ही होगी हिमालय की आवाज यानी अपनी माटी, अपने गांव गली और चौक की बात. जल-जंगल और जमीन की बात भी. पहाड़ के विकास के लिए हम दमदार आवाज बनेंगे. आप सभी शुभचिंतकों के सहयोग का आकांक्षी. : किरण शर्मा, संस्‍थापक

Most Viewed Posts

  • मक्‍की की वजह से पर्यटन के नक्‍शे पर आया यह गांव (5,670)
  • राज्य में 12 पी माइनस थ्री पोलिंग स्टेशन बनाए गए (5,628)
  • टिहरी राजपरिवार के पास 200 करोड से अधिक की संपत्ति (4,127)
  • कम मतदान प्रतिशत वाले बूथों पर जनजागरूकता में जुटा चुनाव आयोग (3,941)
  • प्रधानमंत्री माेदी और गृह मंत्री शाह जल्‍द आएंगे उत्‍तराखंड (3,873)
Himalaya Ki AwajHimalaya Ki Awaj
Follow US

© 2023 Himalaya Ki Awaj. All Rights Reserved. | Designed By: Tech Yard Labs

Removed from reading list

Undo
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?