नई दिल्ली : देश मेंं वनों का दायरा कुल भौगोलिक क्षेत्रफल का एक चौथाई है। हालांकि वर्ष 2013 से 2023 के बीच वन क्षेत्र में 16,630.25 वर्ग किलोमीटर की शुद्ध वृद्धि दर्ज की गई है। केन्द्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्य मंत्री कीर्ति वर्धन सिंह ने राज्य सभा में एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि भारतीय वन सर्वेक्षण (एफएसआई), देहरादून देश के वन एवं वृक्षावरण का द्विवार्षिक मूल्यांकन करती है। इसके निष्कर्ष भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) में प्रकाशित किए जाते हैं।
आईएसएफआर 2023 के अनुसार, देश का कुल वन एवं वृक्षावरण 8,27,356.95 वर्ग किलोमीटर है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्रफल का 25.17 प्रतिशत है। इसमें 7,15,342.61 वर्ग किलोमीटर वनावरण और 1,12,014.34 वर्ग किलोमीटर वृक्षावरण शामिल है। वर्तमान आकलन 2021 के पिछले आकलन की तुलना में वन एवं वृक्षावरण में 1445.81 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि दर्शाता है। इसमें 156.41 वर्ग किलोमीटर वनावरण और 1289.4 वर्ग किलोमीटर वृक्षावरण शामिल है।
आईएसएफआर 2013 और आईएसएफआर 2023 के बीच देश में पिछले दस वर्षों के दौरान वन क्षेत्र में 16,630.25 वर्ग किलोमीटर की शुद्ध वृद्धि हुई है। इस प्रकार, संबंधित राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा किए गए संरक्षण प्रयासों सहित विभिन्न नीतियों और कार्यक्रमों के कार्यान्वयन के कारण, देश का वन क्षेत्र न केवल बरकरार है, बल्कि पिछले एक दशक में इसमें शुद्ध वृद्धि भी हुई है। पिछले एक दशक से देश में वन क्षेत्र में वृद्धि का रुझान रहा है।