देहरादून: दूस न के प्रतिष्ठित दून क्लब में अंग्रजों के बनाए नियम आज भी चलते हैं। यही वजह है कि कोई व्यक्ित इस क्लब में धोती कुर्ता जैसे भारतीय परिधानों में प्रवेश भले ही कर ले, लेकिन उन्हें खाना नहीं परोसा जा सकता।
शनिवार को इस ड्रेस कोड के विरोध में देहरादून बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष मनमोहन कंडवाल वहां पहुंचे और सदस्यता फार्म देेने का अनुरोध किया।वह धोती कुर्ता पहन कर क्लब पहुंुंचे थे। पदाधिकारियों ने उन्हें फिलहाल सदस्यता देने में असमर्थता जताई और उन्हें बताया कि इस समय करीब 2500 सदस्य हैं। क्लब सदस्य टी शर्ट, कुर्ता-पैजामा, पठानी शूट, चप्पल, शार्ट, पटका, टोपी आदि पहनकर अंदर दाखिल तो हो सकता है, लेकिन उन्हें खाना नहीं परोसा जा सकता। उन्होंने आश्वस्त किया कि अगलीी बैठक स पर चर्चा की जाएगी। कोशिश की जाएगी कि यह प्रस्ताव पास हो जाए।
देहरादून बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष मनमोहन कंडवाल ने कहा कि अंग्रेज चले गए हैं, लेकिन उनके नियम-कानून आज भी देहरादून क्लब में चल रहे हैं। यह गलत परंपरा है। इसके विरुद्ध आंदोलन शुरू किया जाएगा। बताया जा रहा है कि शुक्रवार रात एक नेता कुर्ता-पैजामा पहनकर क्लब में पहुंचे थे। बताया जा रहा है कि वह क्लब के सदस्य हैं, लेकिन उन्हें खाना नहीं परोसा गया।